कालापीपल(बबलू जायसवाल)खंड शिक्षा अधिकारी कमल किशोर शर्मा के करकमलों से प्रसिद्ध लेखक एवं शिक्षाविद् डॉ.मंगलेश जायसवाल कृत नवीनतम कहानी संग्रह”मीठा नीम”का विमोचन संपन्न हुआ,कार्यक्रम में उपस्थित वरिष्ठ शिक्षक एवं लेखक नंदलाल परमार ने इस संग्रह को करुण,मार्मिक एवं आमजन की कथा संग्रह बताते हुए डॉ.जायसवाल को”साहित्य शिरोमणि”की उपाधि दी,श्री शशिकांत यादव ने इसे सामाजिक उत्थान में महत्वपूर्ण योगदान बताते हुए कहा कि “मीठा नीम”समाज को नई दिशा देने वाला संग्रह है,खंड शिक्षा अधिकारी कमल किशोर शर्मा ने “मीठा नीम”शीर्षक की सराहना करते हुए कहा कि इसमें संकलित कहानियाँ समाज को प्रेरणादायक संदेश देती हैं एवं वर्चुअल युग में पुस्तकों के प्रति प्रेम उत्पन्न करने का कार्य करती हैं।उन्होंने डॉ.मंगलेश को अपने प्रिय शिष्यों में से एक बताते हुए कहा कि वे गणित में तो निष्णात हैं ही,साथ ही साहित्य में भी गहरी रुचि रखते हैं।कार्यक्रम में निदेशक डॉ.हरीश सोनी पथिक ने”मीठा नीम”को संवेदनशीलता और नई दृष्टि का आयाम बताया,उन्होंने कहा कि डॉ. मंगलेश जायसवाल ने इस कहानी संग्रह के माध्यम से क्षेत्र को गौरवान्वित किया है,इस अवसर पर कहानीकार डॉ. मंगलेश जायसवाल ने “मीठा नीम”को अपने स्वर्गीय श्री रामगोपाल जायसवाल की स्मृति को समर्पित करते हुए इसे मानवीय मूल्यों और संबंधों की धुरी बताया,यह संग्रह समदर्शी प्रकाशन,गाजियाबाद से ISBN नंबर के साथ प्रकाशित हुआ है एवं अमेज़न (https://www.amazon.in/dp/B0DYV4C314) तथा फ्लिपकार्ट (https://www.flipkart.com/product/p/itme?pid=9789348073938) पर भी उपलब्ध है।128 पृष्ठों में संकलित 25 कहानियों वाला यह संग्रह समाज की सच्चाइयों को दर्शाने के साथ मानवीय संवेदनाओं को नई दिशा देने वाला है।इससे पूर्व सन् 2021 में इसी प्रकाशन से इनका काव्य संग्रह भाव मंजरी का भी प्रकाशन हुआ था,डॉक्टर मंगलेश की यह दूसरी प्रकाशित पुस्तक है।सभी प्रबुद्धजन ने उनके संग्रह को सराहा एवं उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। उन्होंने बताया कि अब उनका कार्य उपन्यास पर चल रहा है जो की प्रगति पर है।आपके स्नेह और ईश्वर की कृपा से अतिशीघ्र इनको तीसरी पुस्तक के रूप में पाठकों के हाथों में नया उपन्यास भी होगा।कार्यक्रम के अंत में डॉ. मंगलेश जायसवाल ने सभी अतिथियों एवं साहित्य प्रेमियों का आभार व्यक्त किया।