जबलपुर
पूरी जिंदगी समाज की सेवा में लगा देने वाले बारा सिवनी के प्रसिद्ध व्यवसाई केदार नाथ रूसिया ने मरने के बाद भी अपना समाज सेवा का संकल्प पूरा किया केदार नाथ रूसिया का गुरुवार को 95 वर्ष की आयु में निधन हो गया था इसके बाद उनके परिजनों ने उनकी इच्छा के अनुसार उनकी देह नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज को दान कर दी बताया जाता है कि केदार नाथ रूसिया ने खुद एक महीने पहले अपनी देहदान की इच्छा जाहिर की थी और खुद ही फॉर्म भरकर उस पर अपने दस्तखत किए थे केदार नाथ रूसिया के निधन के बाद उनकी पार्थिव देह को बारा सिवनी में अंतिम दर्शन के लिए रखा गया जिसके बाद आज सुबह उनके पुत्र प्रदीप रूसिया समेत तमाम परिजन उनकी पार्थिव देह को लेकर नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज पहुंचे जहां उन्होंने एनाटॉमी विभाग के एचओडी की मौजूदगी में केदार नाथ रूसिया की देहदान की एनाटॉमी विभाग के एचओडी का कहना है कि छात्र-छात्राओं को प्रैक्टिकल करने के लिए मृत शरीर की जरूरत होती है लेकिन मृत शरीर मिल नहीं पाते क्योंकि लोग इतनी हिम्मत नहीं जुटा पाते कि वे अपनी देह दान कर सके लेकिन केदार नाथ रूसिया ने ऐसा करके मेडिकल कॉलेज के छात्र-छात्राओं को मानो वरदान दिया है अब मेडिकल के छात्र छात्राएं केदार नाथ रूसिया के मृत शरीर पर रिसर्च कर पाएंगे जिससे मेडिकल साइंस को काफी फायदा होगा और उसका लाभ मरीजों को मिलेगा
स्वर्गीय केदार नाथ रूसिया के परिजन एंबुलेंस को फूलों से सजाकर केदार नाथ रूसिया की देह लेकर मेडिकल कॉलेज पहुंचे और उनके देहदान की तमाम औपचारिकताएं पूरी की उनका कहना है कि 1929 को जन्मे केदार नाथ रूसिया काफी छोटी उम्र से ही जनसंघ से जुड़ गए थे इसके बाद उन्होंने अपनी शिक्षा पूरी की और फिर बारा सिवनी में तीन सरस्वती शिशु मंदिर स्कूलों की स्थापना की उसके बाद वे गहोई वैश्य समाज के अखिल भारतीय अध्यक्ष भी रहे उनका पूरा जीवन समाज सेवा में समर्पित था
जीते जी की समाजसेवा मरने के बाद भी रही जारी
नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज को मिली देह
बारा सिवनी निवासी केदार नाथ रूसिया ने की देहदान
देह लेकर जबलपुर के मेडिकल कॉलेज पहुंचे उनके परिजन