रिपोर्टर सीमा कैथवास
नर्मदापुरम। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत स्कूलों और कॉलेजों में शिक्षा की नीति तैयार की जाती है। भारत सरकार ने नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2023 लॉन्च की है। केंद्र सरकार ने शिक्षा नीति में कई बड़े बदलाव किए हैं। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के माध्यम से भारत को विश्व स्तरीय महाशक्ति बनाना। अब जनशक्ति प्रबंधन मंत्रालय को शिक्षा मंत्रालय के नाम से जाना जाएगा। यह बात शुक्रवार को केंद्रीय विद्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता के दौरान केवी की प्राचार्य किरण शर्मा ने कही। उन्होंने बताया राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत, 2030 तक स्कूली शिक्षा में 100% जीईआर (चिकित्सा और कानून की पढ़ाई को छोड़कर) के साथ पूर्वस्कूली से माध्यमिक विद्यालय तक शिक्षा को यूनिवर्सल बनाया जाएगा। पहले 10+2 के पैटर्न का पालन किया जाता था, लेकिन अब नई शिक्षा पैटर्न नीति के अनुसार 5+3+3+4 का पालन किया जाएगा। बच्चों को स्वेच्छा से सब्जेक्ट चुनने की आज़ादी होगी। इस दौरान प्राचार्य केएम जोर्ज, राजीव रंजन, मनीष तुली, आरके रुद्र, धीरेंद्र श्रीवास्तव, आर राम,अनुराग मिश्रा टीजीटी स्पोर्ट्स एवं एनडीसीए मानसेवी सचिव सहित अन्य मोजूद रहे।
7 अगस्त 2020 को हुई थी नई शिक्षा नीति लागू-
शांतिनिकतन स्कूल प्राचार्य केएम जोर्ज ने बताया प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 7 अगस्त 2020 को नई शिक्षा नीति पर देश का संबोधन किया गया था। तब उन्होंने कहा था नई शिक्षा नीती 2023 नए भारत का आधार बनेगी। श्री जोर्ज ने कहा नई शिक्षा नीति भारत की विद्यार्थियों को ग्लोबल सिटीजन बनाएगी। छात्रों को उनकी सभ्यता के साथ जोड़कर रखेगी। छात्र अपनी पैशन को फॉलो कर के नए नए अवसर प्राप्त करेंगे। विद्यार्थियों को अपनी योग्यता, रुचि और मांग की मैपिंग करनी चाहिए। क्रिटिकल थिंकिंग को डिवेलप करने की जरूरत है। कक्षा 5 तक क्षेत्रीय भाषा में शिक्षण का प्रावधान शामिल है।
बच्चों के बेग का वजन कम करने उपाय –
केवी प्राचार्य किरण शर्मा ने बताया कि बच्चो के बेग का वजन कम करने के लिए भी उपाय किए जायेंगे। उन्होंने बताया विद्यालयों को यह निश्चित करना होगा कि मिड डे मील की गुणवाता बेहतर किया जाए। जिससे कि बच्चों को अपना टिफिन लाने की जरूरत ना पड़े। इसके अतिरिक्त विद्यालयों को शुद्ध और उचित गुणवत्ता वाले पानी की सुविधा भी भी देनी होगी। जिससे बच्चों को अपनी पानी की बोतल लाने की भी जरूरत ना पड़े। विद्यार्थियों को ये सुविधा मिलने से उनके बैग का वजन कम होगा और उनके बैग का साइज भी छोटा होगा। इस नई शिक्षा नीति के तहत विद्यालयों में कक्षा का टाइम टेबल ऐसा सेट किया जाएगा, जिससे बच्चों की बैग का भार घट सके।
कक्षा के अनुसार होगा होमवर्क –
केवी प्राचार्य श्रीमती शर्मा ने बताया विद्यालयों में लगाई गई सभी किताबों का भार उनके पब्लिशर्स के द्वारा प्रिंट किया जाएगा। विद्यालयों द्वारा किताबों को चुनते वक्त उनके वजन को भी ध्यान में रखा जाएगा। नई शिक्षा नीती 2023 के तहत विद्यार्थियों के होमवर्क पर ध्यान दिया गया है। इस स्कीम के तहत द्वितीय कक्षा तक विद्यार्थियों को किसी भी प्रकार का होमवर्क नहीं दिया जाएगा। पहली और दूसरी कक्षा के विद्यार्थी बहुत छोटे होते हैं और उन्हें ज्यादा समय तक बैठने की आदत नहीं होती है। तृतीय तथा चतुर्थ एवं पंचम कक्षा के छात्रों को हर 1 सप्ताह में केवल 2 घंटे का होमवर्क मिलेगा। कक्षा छठी से लेकर आठवीं के छात्रों को प्रत्येक दिन 1 घंटे का होमवर्क मिलेगा। इसके अतिरिक्त कक्षा 9 से लेकर कक्षा बारहवीं तक के बच्चों को प्रत्येक दिन 2 घंटे का होमवर्क मिलेगा।
नई शिक्षा नीती को चार भागों में बांटा गया है-
प्रेसवार्ता में मोजूद अन्य स्कूल के प्राचार्य ने बताया कि न्यू एजुकेशन पॉलिसी को चार भागों में बांटा गया है जो कि 5+3+3+4 के पैटर्न पर आधारित है इस पैटर्न में 12 वर्ष की स्कूली शिक्षा तथा 3 वर्ष की स्कूली शिक्षा सम्मिलित है। इस नई शिक्षा नीति को सरकारी और प्राइवेट दोनों प्रकार के संस्थानों के लिए लाया गया है।
1.फाउंडेशन स्टेज-
यह स्टेज 3 से लेकर 8 वर्ष के बच्चों के लिए है इसमें 3 वर्ष की प्री स्कूल शिक्षा तथा 2 वर्ष की स्कूली शिक्षा (कक्षा प्रथम से लेकर द्वितीय) सम्मिलित है फाउंडेशन स्टेज के तहत भाषा कौशल और शिक्षण के विकास पर ध्यान दिया जाएगा।
2.प्रीपेटरी स्टेज-
इस स्पीच के तहत 8 वर्ष से लेकर 11 वर्ष तक के बच्चे आएंगे इसमें कक्षा 3 से लेकर 5 तक के बच्चे सम्मिलित है। शिक्षकों का उद्देश्य प्रीपेड री स्टेज में बच्चों के अंदर भाषा और संख्यात्मक कौशल विकसित करना है। किस स्टेज में छात्रों को उनकी क्षेत्रीय भाषा में पढ़ाया जाएगा।
3.मिडिल स्टेज –
इस स्टेज की तहत कक्षा 6 से लेकर कक्षा 8 तक के बच्चे आएंगे। क्लास 6 से बच्चों को कोडिंग की शिक्षा दी जाएगी और उन्हें व्यवसाई परीक्षण के साथ-साथ इंटर्नशिप का भी मौका दिया जाएगा।
4.सेकेंडरी स्टेज –
इस स्टेज में कक्षा 9 से लेकर कक्षा 12 तक के बच्चे आएंगे जैसा कि हम सभी लोग जानते हैं कि पहले छात्र या छात्राएं साइंस कॉमर्स और आर्ट्स स्ट्रीम लेते थे लेकिन अब इसको समाप्त कर दिया गया है अब छात्र या छात्राएं अपनी इच्छा से सब्जेक्ट को चुन सकते हैं जैसे कि साइंस स्ट्रीम के साथ बच्चा कॉमर्स या फिर कॉमर्स के साथ बच्चा आर्ट्स स्ट्रीम भी ले सकता है।